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![]() वं उषा ताई चाटी : एक ऋजु ,स्नेहमयी व्यक्तित्व। वं उषा ताई मूलत: भंडारा (विदर्भ) निवासी फणसे कुल की कन्या है।आपका जन्म 31 अगस्त 1927 ,गणेश चतुर्थी के दिन हुआ। आपकी पढ़ाई भंडारा के मनरो हाई स्कूल में हुई । वे श्रीमती नाना कोलते की शाखा में भी जाती थी। वहाँ श्रीमती कोलते के समर्पण भाव और निरपेक्षता का प्रभाव उषा ताई पर अपनी छाप छोड़ गया। 1948 में विवाह के पश्चात उनका परिवार नागपुर में स्थांतरित हुआ। उनके पति श्री गुणवंत चाटी बाबा नाम से जाने जाते थे। वह संघ के निष्ठावान स्वंयसेवक एवम् घोष प्रमुख भी थे। उषा ताई हिन्दु मुलीची शाला में अध्यापन का कार्य करती थी तथा छात्राओं को सुसंस्कार भी देती थीं |
![]() वं. प्रमिलाताई मेढे :
आप बाल्यकाल से समिति की सेविका है. आप नागपुर में डीएजीपीटी में सेवारत रही है। स्वेच्छा सेवानिवृत्ति लेकर समिति कार्य हेतु पूर्ण समय आपने दिया. वंदनीय मौसी जी का निकट सानिध्य आपको प्राप्त हुआ है. 1975 से 2003 तक आप प्रमुख कार्यवाहीका रही है। 2003 से 2008 तक आपने प्रमुख संचालिका का दायित्व निर्वहन किया है. .समिति कार्य हेतु आपका अनेक देशों में प्रवास हुआ है। न्यू जर्सी अमेरिका की आपको मानद नागरिकता प्राप्त हुई है।वंदनीय मौसी जी के जन्म शताब्दी वर्ष में आपनेमौसी जी की चित्र प्रदर्शनी को लेकर समूचे भारतवर्ष में, हजारों किलोमीटर का प्रवास 100 से अधिक स्थानों पर किया है. आप उत्तम वक्ता, गहन चिंतनशील एवं उत्तम लेखिका है. अनेक भाषाओं पर आपका प्रभुत्व है. वर्तमान में आप अखिल भारतीय कार्यकारिणी सदस्य हैं।
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प्रमुख संचालिका : माननीया शान्ताक्का जी -- एम.एस.सी. (गणित) एवं एम.एड.।कई वर्षों तक भारतीय विद्या भवन बेंगलुरू में अध्यापिका रही। समिति के कार्य के लिए 1995 में स्वेच्छा निवृत्ति ले लीं और अपना पूरा समय समिति के विस्तार एवं विकास के लिए दे रही हैं। इनका केन्द्र नागपुर है। समिति के कार्य विस्तार के लिए अमेरिका, इंग्लैंड आदि देशों में प्रवास रहता है। |